ये लक्षण दिखें! तो हो जाएं एलर्ट हो सकती है ये बीमारी
देश ने हाल ही में कोरोना जैसी महामारी को देखा है जिससे हर कोई बखूबी जानता है देश में कोरोना ने किसी को भी नहीं छोड़ा है न ही बच्चों को और न ही बड़ों को वहीं डॉक्टर्स का कहना है की ये कोरोना एक बार फिर से लौट कर आ सकता है। इस मौजूदा समय में मौसम तेजी से बदल रहा है जिसके चलते आपको और अपके छोटे बच्चों को कोरोना हो सकता है।
ऐसी स्थिति में शरीर में दर्द और सिर दर्द, नजला, खांसी और बुखार जैसे लक्षण दिखने लगते हैं तो ये समय लापरवाही का नहीं है। ऐसी स्थिति में तुरंत डॉक्टर्स के पास जाएं और अपने शरीर के लक्षण को बताएं। ताकि सही समय पर इसका इलाज कर कोरोना से लड़ा जा सके।
डॉक्टर्स का मानना हैली कोरोना एक तरह का वायरस है जो अक्सर कमज़ोर लोगों को पकड़ता है या वे लोग जिनकी इम्यूनिटी सिस्टम वीक होती है। इस तरह के वायरस से बचने के लिए डॉक्टर्स के कॉन्टैक्ट में हर समय रहना ही उचित है, ज़रा सी भी लापरवाही व्यक्ति की जान भी ले सकता हैं। इसी लिए ऐसी स्थिति में बिलकुल भी लापरवाही न करें और डॉक्टर्स के संपर्क में रहें। ज़रा सा भी स्वस्थ जीवन में कोई अनुचित लक्षण दिखाई दे तो तुरंत डॉक्टर्स को बताएं।
बच्चों में कोरोना का इन्फेक्शन
डॉक्टर्स का कहना है की बदलता मौसम बीमारियों का घर होता है। ऐसे में घर में बड़ी की जिम्मेदारी होती है की खुद के साथ साथ अपने बच्चों का भी ख्याल रखें। क्योंकि मौसम का असर सीधे स्वास्थ पर पढ़ता है।जो की एक बड़ी चिंता करने वाली है। वहीं डॉक्टर्स का कहना है की हाल ही जो लोग करोना से संक्रमित हुए थे खास कर बच्चे उन्हें दोबारा से कोरोना हो रहा है।
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डॉक्टर्स ने बताया की हमारे पास इस तरह के बहुत से केसेज सामने आ रहे हैं। वहीं डॉक्टर्स ने ये भी बताया है की बदलते हैं मौसम में कुछ संकरण फिर से उभर कर सामने आ रहे हैं, जिन्हें बिलकुल भी नज़र अंदाज़ नहीं करना है। वो लक्षण आपको बुखार, नजला, खांसी, जुखाम के रूप में नज़र आ सकता है। ऐसी स्थिति को नज़र अंदाज़ न करें खास कर बच्चों को लेकर तो बिलकुल भी नहीं। कोई भी संकरण होने पर तुरंत डॉक्टर्स या पास के अस्पताल से राबता करें।
कोविड के साथ-साथ मिले स्वाइन फ्लू और डेंगू के मरीज
ये समय बहुत ही कठिनाइयों भरा है ऐसी स्थिति में खुद और अपनों का खयाल रखना बहुत जरूरी है। कोरोना के संक्रमण के चलते अब स्वाइन फ्लू और डेंगू के भी मरीज तेज़ी से बढ़ रहे हैं। इसी कठिन परिस्थिति में खुद को बचाना बहुत जरूरी है।